नोएडा। यमुना नदी में आई बाढ़ ने गौतमबुद्धनगर में भी भारी तबाही मचाइ है। गुरुवार को नोएडा और ग्रेटर नोएडा में डूब क्षेत्र से सटे 10 से अधिक गांव और चार सेक्टरों में बाढ़ का पानी घुसने से अफरातफरी का माहौल हो गया। बाढ़ में सैकड़ों लोग और जानवर पानी में फंस गए। प्रशासन ने एनडीआरएफ की चार और एसडीआरएफ की दो और पीएसी की एक टीम के साथ फंसे लोगों को बाहर निकाला। शाम तक 150 से अधिक लोग और 700 से अधिक जानवरों को रेस्कयू किया गया।
चार सेक्टरों में पानी घुसा

पिछले चार दिन से यमुना नदी उफन पर चल रही थी, लेकिन बृहस्पतिवार की सुबह यमुना का जल स्तर खतरनाक स्तर को पार कर गया और नोएडा व ग्रेटर नोएडा के गांव व सेक्टरों में पानी घुस गया। नोएडा के सेक्टर 134, 135, 136 व 167 ए के साथ-साथ तिलवाड़ा, मंगरौली खादर, बसंतपुर, कामबक्शपुर, नंगला नंगली, मंगरौली बांगर, मोतीपुर समेत करीब 10 गांवों में पानी घुस गया है। जानकारी होने पर जिला प्रशासन, पुलिस और प्राधिकरण के अफसर मौके पर पहुंच गए और तत्काल बचाव कार्य शुरू किया। अपर जिलाधिकारी वित्त एवं राजस्व अतुल कुमार ने बताया कि बाढ़ से 1700 से अधिक लोग प्रभावित हैं। टीम अभी भी बाढ़ प्रभावित इलाकों में काम कर रही है। उन्होंने बताया कि बृहस्पतिवार की दोपहर एक बजे से जल स्तर में वृद्धि रूकी है, लेकिन अभी और बढ़ने की आशंका है। प्रभावित गांवों के ग्रामीणों से अपील की है कि वो सतर्क रहे और सुरक्षित स्थानों पर चले जाए।
बाढ़ से प्रभावित लोगों के लिए सेक्टर 134, 135 और 136 में चार आश्रय स्थल बनाए गए हैं। जहां लोगों को ठहराया गया है। बाढ़ प्रभावित परिवारों को राहत सामग्री, खानपान, पीने योग्य पानी, साफ सफाई, लाइट और स्वास्थ्य संबंधी सभी सेवाएं दी जा रही हैं। खाने और पीने के साथ-साथ साफ सफाई की व्यवस्था की जिम्मेदारी संबंधित प्राधिकरण को दी गई है।
मेडिकल टीमों को किया गया तैनात
प्रशासन ने बाढ़ प्रभावित क्षेत्र में आठ मेडिकल टीमों को तैनात किया है। मेडिकल टीमों के पास सांप काटने की दवा भी होगी। साथ ही हैजा व अन्य संक्रमण वाली बीमारियों की दवा भी उपलब्ध रहेगी।